Jan 26, 2014

पहले जो मालिक हुआ करते थे आज नौकर बन कर काम कर रहे .........

गुड़गांव. कभी उनके पास करोड़ों की जमीन थी, आज उसी जमीन पर बनी इमारतों में प्राइवेट सिक्योरिटी गार्ड की नौकरी करनी पड़ रही है। कभी उनके पास खुद की लाखों की कार थी, आज उन्हें ऑटो चलाना पड़ रहा है। फिल्मों में तो आपने इस तरह की बहुत सी कहानियां सुनीं होंगी, लेकिन आपको बता दें, ये कोई कहानी नहीं है, यह है हकीकत।

पहले जो मालिक हुआ करते थे आज नौकर बन कर काम कर रहे हैं। यह कहानी है गुड़गांव की जहां पर कुछ लोगों ने अपनी जमीन पहले तो बड़े-बड़े बिल्डर्स को करोड़ों में बेच दी लेकिन अब उनकी ये हालत हो गई है कि उसी जमीन पर बनीं इमारतों में प्राइवेट गार्ड की नौकरी करनी पड़ रही है।

किसान संघर्ष समिति के अध्यक्ष ओमप्रकाश यादव ने बताया कि अनपढ़ या कम पढ़े लिखे किसान आज प्राइवेट सिक्योरिटी गार्ड की नौकरी कर रहे हैं जो कभी खुद करोड़ों के मालिक थे। आज हम आपको बताएंगे कुछ ऐसे ही लोगों की कहानी जो कभी अर्श पर थे और आज फर्श पर हैं...

48 साल के कंवार यादव ने बताया कि उसने लगभग 2 करोड़ रुपए में सिही गांव की अपनी 3 एकड़ से भी अधिक जमीन बेच दी जो आज सेक्टर 83-84 है।

इन पैसों से उसने महेंद्रगढ़ जिले के एक गांव में 6 एकड़ जमीन खरीद ली। वहां एक कोठी बनाई और एक SUV भी खरीद ली।

उन्होंने बताया कि उन्हें इस बात का कोई अंदाजा ही नहीं था कि एक दिन सारे पैसे खत्म हो जाएंगे। उन्हें अपनी SUV भी बेचनी पड़ी, और आज अपनी खुद की जमीन पर बनी इमारत में ही एक प्राइवेट सिक्योरिटी गार्ड की नौकरी करनी पड़ रही है। उनकी कहानी भी और किसानों की तरह जिनके पास गुड़गांव और मानेसर के बीच कभी खुद की जमीन थी।

इनमें राजेंद्र सिंह, कंवार यादव, धर्मेंदर, रमेश, ओमप्रकाश, लीला राम, नरेंदर सिंह, महेश यादव आदि कुछ ऐसे नाम हैं जो सिंकदरपुर, बाधा, नवाडा, रामपुरा, नखरौला, मानेसर, नरसिंहपुर, मोहम्मदपुर और नौरंगपुर के रहने वाले थे। इन गांवों के लगभग 90 प्रतिशत लोगों ने अपनी खेती की जमीनें प्राइवेट बिल्डरर्स को बेच दीं। इनमें से कुछ ने अपनी मर्जी से बेचीं, तो कुछ ने दबाव में आकर।

34 साल के महेश यादव ने कुछ साल पहले अपनी जमीन बेच कर 1.5 करोड़ रुपए कमाए और हरियाणा पुलिस की नौकरी छोड़ दी। इन पैसों से उसने अपने परिवार के सभी सदस्यों के जन्मदिन धूमधाम से मनाए।
यहां तक कि एक बार अपने कुत्ते का भी जन्मदिन मनाया। लगभग 2 साल तक उसके पास महेंद्रा स्कॉर्पियो भी थी। आज वह एक प्राइवेट गाड़ी में ड्राइवर का काम करता है।

50 साल के महेंद्र सिहं ने जुलाई 2008 में लगभग 5 एकड़ जमीन बेच कर 4 करोड़ रुपए पाए। इन पैसों से उसने रेवाड़ी जिले में 10 एकड़ खेती की जमीन खरीदी और पजेरो गाड़ी भी खरीदी।

18 महीनों के बाद पजेरो को बेचना पड़ा और फिर उसने टाटा सफारी ली। 2012 में उसे यह भी बेचनी पड़ी और उसके पास मारुति स्विफ्ट है।

महेंद्र ने बताया कि उसके 7 सदस्यों के परिवार को गुड़गांव के उसके प्लॉट से मिलने वाले किराए से घर का खर्च चलाना पड़ा। महेंद्र ने कहा कि उसने ये कभी नहीं सोचा था कि ऐसा दिन भी देखना पड़ेगा।

38 साल के रमेश की भी कुछ ऐसी ही कहानी है। 2006 में जमीन बेचकर मिले 80 लाख रुपए से उसने रेवाड़ी जिले में कुछ खेती की जमीन, एक हार्डवेयर की दुकान और एक हुंडई सैंट्रो कार खरीदी।

2011 तक आते-आते उसने दुकान और गाड़ी दोनों ही बेच दिया। आज वो अपनी खुद की थ्री-व्हीलर चलाता है।

रामपुरा गांव के 40 साल के ओमप्रकाश आज एक सब-कॉंट्रेक्टर की तरह काम कर रहे हैं। यह उसी जमीन पर फ्लैट बनवाने का काम कर रहे हैं जिनमें से 5 एकड़ उनकी खुद की थी।
उनका कहना था कि मैं अपनी जमीन बेचना तो नहीं चाहता था लेकिन उस समय यह अफवाह थी कि सरकार सबकी जमीनें ले लेगी इसलिए मुझे अपनी जमीन बेचनी पड़ी।

इंडियन रिवेन्यू सर्विस के पूर्व अधिकारी अनुराग बख्शी ने कहा कि बहुत सारे कम पढ़े लिखे या अनपढ़ किसानों ने अपनी जमीन बेच कर मिले पैसों को बर्बाद कर दिया।

उन लोगों को नहीं पता था कि किस तरह से पैसे खर्च करने चाहिए और कैसे पैसों से पैसा बनाना चाहिए। उन्होंने बहुत महंगी-महंगी कारों और घर खरीदने में ही सारे पैसे बर्बाद कर दिए।

उन लोगों में पैसे खर्च करने की एक प्रतियोगिता सी होने लगी जिसने उनकी आज ये हालत कर दी है। उन्होंने शादियों और पार्टियों में भी अंधाधुंध पैसे लुटाए और आज खुद की रोजी के लिए सघर्ष कर रहे हैं

21 comments:

  1. बहुत ही सुंदर रचना। आपके ब्‍लाग पर काफी समय से कोई अपडेट नहीं है। अब तो गूगल भी हिंदी भाषा को सपोर्ट करने लगा है। इसलिए उसका लाभ उठाइए और पोस्‍ट कीजिए और ट्रेफिक बढ़ाइए।

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  3. आपने वाकई detail में इसे बताया आपका धन्यवाद् लगभग कुछ घंटो के बाद मिला यहाँ सही जानकारी,अभी तक बहुत ही आसानी से बहुत ये सवालो का जवाब मुझे मिला है यहाँ , हिंदी में पढने वालो के लिए वाकई बेहतरीन ब्लॉग ! धन्यवाद सर जी
    Appsguruji (आप सभी के लिए बेहतरीन आर्टिकल संग्रह) Navin Bhardwaj

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  4. achi jankari hai

    very nice and effort

    ji aapne bhut achchhi jankariya btayi hai is post ke madhym se dhanywad aapka
    achi jankari hai

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  5. 1
    islam ki sachai .
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    Published on
    5/27/21 11:59 PM
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