Mar 12, 2013

अखिलेश ने बांटे 10 हजार फ्री लैपटॉप, जानिए क्या खास है इसमें...



लखनऊ. समाजवादी पार्टी की सरकार की महत्‍वाकांक्षी लैपटॉप वितरण योजना की शुरुआत आज लखनऊ से हो गई। कॉल्विन ताल्‍लुकेदार्स कॉलेज में आज सीएम अखिलेश ने राजधानी के 15 उच्‍च शिक्षण संस्‍थानों के 10 हजार छात्रों को लैपटॉप बांटे। कार्यक्रम में सीएम ने 51 लैपटॉप अपने हाथों से बांटे। इस दौरान सीएम के साथ कैबिनेट मंत्री अहमद हसन, राम गोविंद चौधरी, ओम प्रकाश सिंह, आनन्‍द सिंह, राजा राम पाण्‍डेय, दुर्गा प्रसाद यादव, शिवपाल सिंह यादव और राजेंद्र चौधरी आदि मौजूद थे।

वर्ष 2012 में उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा परिषद, उप्र माध्यमिक संस्कृत शिक्षा परिषद, उप्र मदरसा शिक्षा परिषद, सीबीएसई, आईसीएसई सहित सभी मान्यता प्राप्त बोर्डों से 12वीं अथवा समकक्ष परीक्षा पास कर मान्यता प्राप्त उच्च शैक्षणिक संस्थाओं में अध्ययनरत सभी वर्गों के 15 लाख छात्र-छात्राओं को लैपटॉप उपलब्ध कराया जाएगा।

लैपटॉप प्रतिष्ठित कंपनी एचपी आपूर्ति कर रही है। प्रवक्ता ने बताया कि 14 इंच आकार की स्क्रीन वाले लैपटॉप की हार्ड डिस्क 600 जीबी तथा रैम दो जीबी क्षमता की होगी। यह लैपटॉप ब्लू टूथ, वाई फाई सपोर्ट एवं न्यूनतम तीन घंटे की क्षमता वाली बैटरी से युक्त होगा। एसी पावर स्लॉट के अतिरिक्त तीन यूएसबीपोर्ट एवं एक पोर्ट भी होगा। लैपटॉप डीवीडी राइडर तथा हिन्दी,अंगे्रजी एवं उर्दू भाषाओं में टाइप करने की सुविधाओं से युक्त है। सभी लैपटॉप के साथ कैरी बैग तथा यूजर मैनुअल की आपूर्ति भी की जाएगी।

बैग और लैपटॉप पर उत्‍तर प्रदेश सरकार के लोगों के साथ ही जैसे ही आप इस लैपटॉप को ऑन करेंगे तो पाएंगे कि इसमें विंडोज की बजाए सीएम अखिलेश यादव की तस्‍वीर उभर कर सामने आएगी। थोड़े समय अखिलेश को देखिए उसके बाद सपा मुखिया मुलायम सिंह यादव की तस्‍वीर स्‍क्रीन पर उभरेगी और लिखकर आएगा 'पूरे होते वादे'। इसके बाद लैपटॉप योजना से जुड़े उत्‍तर प्रदेश के विभागों के नाम दिखाएगा, तब जाकर होम स्‍क्रीन पर आप पहुंचेंगे।

यू पी वालो लेपटॉप मिलना शुरू हो गए................

यू पी वालो लेपटॉप मिलना शुरू हो गए................

यार बता तो दिया करो !!! ऐसी बातें कहीं छुपाई जाती हैं क्या ?

मैंने भी उधार के लैपटॉप बहुत चलायें हैं |
...
अब बताता हूँ इसके सदुपयोग कैसे करना है |

रात को बत्ती चली जाए तो गूगल में लालटेन सर्च कीजियेगा |
लेकिन लालटेन जलेगी कैसे ?

इसके लिए आप घासलेट सर्च कीजियेगा |

घासलेट लेने आप जायेंगे कैसे ?
इसके लिए आप साइकिल सर्च कीजियेगा |

लेकिन साइकिल आपको देगा कौन नेताजी देंगे |

लेकिन कहानी में मोड़ यहीं शुरू होता है
क्योंकि नेताजी आपको साइकिल नहीं दे सकते

नेताजी की साइकिल का हैंडल आजम खान के पास है |

आगे का पहिया रामगोपाल यादव के पास है

पीछे का शिवपाल यादव के पास है

पैडल अखिलेश के पास |

सीट कवर बहू के पास |

चैन धर्मेन्द्र यादव के पास |

इसलिए लेपटॉप को शट डाउन करो और चुप चाप सो जाओ |

Mar 9, 2013

आप अपना बेहतर दीजिये, फिर देखिये सारी दुनिया आपकी प्रशंसा करेगी"...

एक छोटा बच्चा एक बड़ी दूकान पर लगे टेलीफोन बूथ पर
जाता हैं और मालिक से छुट्टे पैसे लेकर एक नंबर डायल करता हैं|
दूकान का मालिक उस लड़के को ध्यान से देखते हुए
उसकी बातचीत पर ध्यान देता हैं लड़का- मैडम क्याआप मुझे अपने बगीचे की साफ़ सफाई
का काम देंगी? औरत- (दूसरीतरफ से) नहीं, मैंने एक दुसरे लड़के को अपने
... बगीचे का काम देखने के लिए रख लिया हैं| लड़का- मैडम मैं आपके बगीचे का काम उस लड़के से आधे वेतन में
करने को तैयार हूँ! औरत- मगर जो लड़का मेरे बगीचे का काम कर रहा हैं उससे मैं
पूरी तरह संतुष्ट हूँ| लड़का- ( और ज्यादा विनती करते हुए) मैडम मैं आपके घर
की सफाई भी फ्री में कर दिया करूँगा!! औरत- माफ़ करना मुझे फिर भी जरुरत नहीं हैं धन्यवाद| लड़के के चेहरे पर एक मुस्कान उभरी और उसने फोन
का रिसीवर रख दिया| दूकान का मालिक जो छोटे लड़के
की बात बहुत ध्यान से सुन रहा था वह लड़के के पास आयाऔर
बोला- " बेटा मैं तुम्हारी लगन और व्यवहारसे बहुत खुश हूँ, मैं
तुम्हे अपने स्टोर में नौकरी दे सकता हूँ" लड़का- नहीं सर मुझे जॉब की जरुरत नहीं हैं आपका धन्यवाद| दुकानमालिक- (आश्चर्य से) अरे अभी तो तुम उस लेडी से
जॉब के लिए इतनी विनती कर रहे थे !! लड़का- नहीं सर, मैं अपना काम ठीक से कर रहा हूँ की नहीं बस
मैं ये चेक कर रहा था, मैं जिससे बात कर रहा था, उन्ही के
यहाँ पर जॉब करता हूँ| *"Thisis called Self Appraisal"
"आप अपना बेहतर दीजिये, फिर देखिये
सारी दुनिया आपकी प्रशंसा करेगी"

"डूबते को बचाने के 500 rs"

दो दोस्त कोई काम नहीं करते थे
एक दिन नदी के पुल पर गए
देखा वह लिखा था...
"डूबते को बचाने के 500 rs"
तब दोनों सलाह करते है की तू डूबने की एक्टिंग करना और में आकर तुझे बचा लूँगा दूसरा दोस्त ऐसा ही करता है ,जब वो डूबने लगता है तो अपने दोस्त को आवाज लगता है
... लेकिन वो उसे नहीं बचाता है.
किसी प्रकार वो नदी से बाहर निकल आता है .अपने दोस्त से पूछता है की तूने मुझे बचाया क्यों नहीं .
तब उसका दोस्त बोला की तूने वो बोर्ड तो पढ़ लिया जिस पर लिखा था...
"डूबते को बचाने के 500 rs" लेकिन उसके बराबर में जो बोर्ड था उसे नहीं पढ़ा उस पर लिखा था..
"लाश निकलने के 1000 rs" !!!

मेरी गुड़िया को अपने सपने पूरे करने दीजिये .....

गुड़िया दुखी थी। पास मे बैठी माँ भी चुप। बबलू ना जाने क्या सोच रहा था।
अभी-अभी पिताजी फरमान जो सुना गए थे की गुड़िया ने दसवीं कर ली है, आगे पढ़ने की जरूरत नहीं। “हमने कौन सा बेटी से नौकरी करवानी है ? देखा नहीं है आज-कल की पढ़ी-लिखी मेमों को। बस गिटर –पिटर अँग्रेजी बोली और आता- जाता कुछ नहीं। ये घर बसाती नहीं, बर्बाद करती है !! एक तो इनकी पढ़ाई-लिखाई पर पैसे लगाओ ऊपर से हमे ही ज्ञान देंगी। पैसे कोई पेड़ पर उगते है ? बस, अब गुड़िया की शादी कर देंगे, अच्छा लड़का देखकर।“
वैसे, बबलू का मोटरसाइकल का टेंडर पास हो गया था। “यही बुढ़ापे का सहारा है। आज इसको देखेंगे, कल ये हमे संभालेगा।“
बबलू की प्यारी बहन थी गुड़िया। और अच्छी तरह समझता था की पिताजी गलत कर रहे है।

... शाम को पिताजी से वह बोला,’ आप गुड़िया को पढ़ाइए, मुझे मोटरसाइकल नहीं चाहिए। पापा, कुछ लड़के भी पढ़-लिख कर गधे ही रहते है। इसमे पढ़ाई का दोष नहीं है। क्यूंकी परिवार, समाज, देश या विश्व मे अगर कोई जागृति और उन्नति हुई है तो वो पढे-लिखों की वजह से। और वैसे भी शिक्षा गुड़िया का अधिकार है। अगर आप, जन्मदाता हो कर उसके अधिकारों का सम्मान नहीं करेंगे तो दूसरे घरवालों से क्या अपेक्षा !! एक पढ़ी-लिखी लड़की परिवार की एक पूरी पीढ़ी को शिक्षा दे प्रग्रतिशील बना सकती है। अपने स्वाभिमान के लिए खड़ी हो सकती है और जरूरत पड़े तो आत्मनिर्भर भी हो सकती है। मेरी गुड़िया को अपने सपने पूरे करने दीजिये ..... में उसके टूटे सपनों पर मोटरसाइकल नहीं चला सकता।‘

पिताजी की स्वीकृति मे मुस्कान भी थी और गर्व भी। गुड़िया और माँ की आँखों मे वो अच्छे वाले आँसू।